सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सुबखरी के निर्माण में करोड़ों का गोलमाल

बदहाली पर आंसू बहा रहा सुबखरी का सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र

घनश्याम त्रिपाठी
संतकबीरनगर संदेश महल
जिले के पौली विकास खंड अंतर्गत सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सुबखरी अपने बदहाली पर आंसू बहा रहा है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र परिसर में झाड़ झंखाड़, घास फूस तथा गंदगी का साम्राज्य स्थापित है। जिससे उसमें विषैले सर्प व बिच्छू निवास कर रहे हैं ग्रामीणों को अस्पताल परिसर में जाने से काफी भय लगता है। करोड़ों रुपया खर्च कर बनाया गया सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र निष्प्रयोज्य साबित हो रहा है। ग्रामीण क्षेत्रिय विधायक से लगायत एसडीम तक कई बार लिखित शिकायती पत्र दे चुके हैं। लेकिन आज तक कोई कार्रवाई नहीं हुई ।
मालूम हो कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सुबखरी का निर्माण साढे 5 करोड़ की लागत से उत्तर प्रदेश निर्माण निगम लिमिटेड के कार्यदायी संस्था के ठेकेदार द्वारा वर्ष 2012 -13से लगायत 2015–2016 तक कराया गया था। उक्त सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर प्रभारी चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर रमेश चंद्रा की तैनाती  हो चुकी है ।उनके नीचे ,2 जूनियर 2  वार्ड ब्वाय समेत 6 स्टाफ की तैनाती भी है। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र परिसर में  बिल्डिंग ब्लॉक के दो आवास व एक कोविड का निर्माण कार्य कराया गया है लेकिन वहां बदहाली का आलम यह है कि कोविड के फर्श पर लगे टायल टूट कर नीचे धंस गए हैं। उस पर शौच तथा गंदगी का साम्राज्य स्थापित हो गया है। मुख्य चिकित्सालय में अभी तक पर्स नहीं  है, सिर्फ मिट्टी पर ही गंदगी पसरी हुई है।सुबखरी निवासी विजय कुमार सिंह, बबलू नायक, राम केवल पासवान, सुनील यादव, लव कुश चौहान समेत तमाम ग्रामीणों का कहना है कि क्षेत्र के मरीज प्राइवेट अस्पतालों पर झोलाछाप डॉक्टरों के शरण में शोषण के शिकार हो रहे हैं और करोड़ों की लागत से बना हुआ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र निष्प्रयोग साबित हो रहा है ।उक्त सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के बदहाली प्रकरण पर पूछे जाने पर क्षेत्रीय विधायक गणेश चंद्र चौहान का कहना है कि मैंने अपने प्रयास से एक करोड़ 93 लाख रुपया निगम से रिकवर कराया है और 93 लाख का बजट संस्था के पास रखा हुआ है। इस संबंध में पूछे जाने पर उत्तर प्रदेश निर्माण निगम लिमिटेड कार्यदाई संस्था के प्रोजेक्ट मैनेजर अनिल कुमार सिंह का कहना है कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के निर्माणके बाद अन्य मेंटेन कार्य तक पूरा करने में कुछ बजट कम पड़ रहा है जैसे ही बजट मिलता है मेंटेन कार्य प्रारंभ करा दिया जाएगा।