प्रस्तुतकर्ता
जेपी रावत/प्रवीन कुमार
संदेश महल समाचार
बन के तस्वीर-ए-गम रह गए हैं
खोये खोये से हम रह गए हैं
बाँट ली सबने आपस में खुशियां
मेरे हिस्से में ग़म रह गए हैं।
कहते हैं? इश्क पर किसी का जोर नहीं चलता। प्यार करने वाले वही करते हैं जो उन्हें कबूल होता है। ऐसे में अगर समाज बंदिशें खड़ी कर देता है तो कोई न कोई अनहोनी सामने आ जाती है।मोहब्बत की एक ऐसी ही अनहोनी सामने आयी है। मोहब्बत करने की खातिर एक जान को अपनों ने ही फना कर दिया। चांदनी और अर्जुन के बीच प्यार होने की सुगबुगाहट समाज के सामने आयी तो हंगामा मच गया। प्यार में अड़चन को देखते हुए दोनों ने विवाह कर लिया। और एक नई जिंदगी जीने की पहली सीढ़ी पर कदम रखा तो अपने ही खून के प्यासे हो गए। आखिर वह भी दिन आ गया जब खून के ही रिस्तो ने, रिस्तो का खूनी खेल खेल डाला।
बात करते हैं चांदनी हत्या काण्ड की वाक्या उत्तर प्रदेश के जिला मैनपुरी के किशनी के कश्यप नगर में चांदनी की हत्या उसके सगे भाइयों ने ही कर दी। और हत्या के बाद शव को जमीन में दफन कर दिया। पुलिस ने खोदाई के बाद शव निकाला गया। शव की ऐसी हालत थी कि उसे कहीं ले जाना नामुमकिन था। पुलिस ने पोस्टमार्टम के बाद चांदनी का शव उसके पति अर्जुन को सौंप दिया। चांदनी का अंतिम संस्कार किशनी में ही किया गया लेकिन अर्जुन को एक मलाल मन में टीस कर रहा था कि वह अपनी पत्नी का अंतिम दाह संस्कार अपने गांव नहीं कर सका।अंतिम संस्कार के दौरान अर्जुन फूट-फूटकर रोया। आखिर आन की खातिर अपनों ने ही उसकी चांदनी को हमेशा हमेशा के लिए जुदा कर दिया।
गौरतलब हो कि प्रतापगढ़ जिले के लालगंज थाना क्षेत्र के गांव टोडरपुर निवासी अर्जुन जाटव (हाल पता त्रिलोकपुरी दिल्ली) ने चांदनी कश्यप पुत्री उदयवीर निवासी कश्यपनगर फरेंजी से प्रेम विवाह किया था। 17 नवंबर से चांदनी लापता थी। 10 दिसंबर को दिल्ली के मयूर विहार थाने की पुलिस गांव पहुंची तो युवती की हत्या कर शव खेत में गाड़ने की जानकारी मिली। खोदाई के दौरान शव खेत के बीच से बरामद किया गया।इस दौरान पुलिस ने युवती के घर पहुंचकर तलाशी ली तब वहां खून के धब्बे लगी शर्ट बरामद हुई। खोदाई से पहले दिल्ली पुलिस के एसआई मनोज कुमार तोमर ने चांदनी की मां सुखरानी से पूछताछ की।
दिल्ली पुलिस का कहना है कि अपहरण के मामले को हत्या की धाराओं में तरमीम किया गया है।चांदनी की हत्या गोली मारकर की गई थी। पुलिस की जांच में सामने आया है कि मां सुखरानी के उकसाने पर भाई सुधीर और सुशील ने चांदनी की पिस्टल से गोली मारकर हत्या की थी। मौसी के लड़के जयवीर ने शव को दफनाने में सहयोग किया था। शव गाड़ने से पहले वहां नमक भी डाला गया। प्रेम विवाह करने से चांदनी के परिजन नाराज थे। चांदनी से बात करते हुए उन्होंने नाराजी खत्म होने की बात कहते हुए सुनील को उसे लाने के लिए भेजा था। 17 नवंबर को वह कश्यपनगर आई, उसी रात को सुधीर और सुशील ने हत्या कर दी थी। सुनील ने इसका विरोध भी किया तो उसे धमका कर दिल्ली भगा दिया था।
प्रतापगढ़ जिले के लालगंज थाना क्षेत्र के गांव टोडरपुर निवासी अर्जुन जाटव दिल्ली के त्रिलोकपुरी में रहकर एक फैक्टरी में काम करता है। इसी मोहल्ले में बुआ के घर रह रही चांदनी से युवक की जान पहचान हो गई। दोनों के बीच आठ साल से प्रेम संबंध थे। 12 जून 2020 को अर्जुन और चांदनी ने प्रतापगढ़ जाकर घरवालों की मर्जी के खिलाफ मंदिर में शादी कर ली। इसके बाद दोनों दिल्ली में आकर रहने लगे। 17 नवंबर को चांदनी भाई के बुलाने पर गांव घूमने के लिए आई थी। इसके बाद से वह लापता थी। कुछ इस तरह चांदनी और अर्जुन की मोहब्बत का हमेशा हमेशा के लिए दर्दनाक अंत हो गया।